हम हिन्दू या मुसलमान नहीं है, हम दुखते दिल के आंसू हैं,
जिसका केवल एक ही धर्म है, सभी की कुशल कामना, सभी का मंगल…
सर्वे भवन्तु सुखिनः सर्वे सन्तु निरामया । सर्वे भद्राणि पश्यन्तु मा कश्चित् दुःखभाग् भवेत् ।।
(सभी सुखी होवें, सभी रोगमुक्त रहें, सभी मंगलमय घटनाओं के साक्षी बनें, और किसी को भी दुःख का भागी न बनना पड़े ।)